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देशभर में कल मनाया जाएगा बकरीद, चप्पे-चप्पे पर पुलिस प्रशासन की नजर

मेरठ: पूरे देश में कल ईद उल अज़हा का त्यौहार मनाया जाएगा जिसको लेकर प्रशासन पूरी तरीके से मुस्तैद नजर आ रहा है। भारी पुलिस बल सुरक्षा की नजर से लगाया जा रहा है और प्रशासन की तरफ से साफ हिदायत दी गई है कि कोई भी व्यक्ति सड़क पर नमाज अदा नहीं करेगा। वहीं पूर्व में ईद उल फितर के दौरान सड़क पर नमाज अदा करने वाले 200 लोगों के खिलाफ मुकदमा दर्ज किया गया था जिसको लेकर मेरठ शहर काजी में प्रशासन से मुकदमा वापस लेने की सिफारिश की है। 

आपकों बता दें कुछ महीने पहले ईद उल फितर के मौके पर भारी भीड़ शाही ईदगाह में नमाज अदा करने के लिए पहुंची थी और ईदगाह के अंदर जगह न मिलने पर कुछ लोगों के द्वारा सड़क पर नमाज अदा की गई जिसको लेकर पुलिस अधिकारियों और नमाज़ियों के बीच कहासुनी भी हुई थी जिसके वीडियो सोशल मीडिया पर वायरल हुए थे। वहीं इस घटना के बाद प्रशासन की तरफ से 200 अज्ञात लोगों के खिलाफ मुकदमा दर्ज किया गया था। वहीं कल पूरे देश में ईद उल अज़हा का पावन त्यौहार मनाया जाएगा जहां प्रशासन कि तरफ से साफ हिदायत दी गई है कि सड़क पर कोई भी नमाज अदा नहीं करेगा। 

वहीं इस मुद्दे पर मेरठ शहर क़ाज़ी ज़ैन उस साजिदीन का कहना है कि ईद उल फितर के मौके पर ईदगाह में नमाज अदा करने के लिए पहुंचे नमाज़ियों की भारी भीड़ के चलते ईदगाह में दाखिल नहीं हो पाए थे और इसी वजह से उनके द्वारा सड़क पर नमाज अदा की गई थी लेकिन ऐसा करना कोई जुर्म नहीं है। प्रशासन की तरफ से 200 अज्ञात लोगों पर मुकदमा दर्ज किया गया। इस मुद्दे पर उनका कहना है कि इन लोगों ने कोई जुर्म नहीं किया है और नमाज पढ़ने वाले लोगों ने किसी के साथ मारपीट का झगड़ा नहीं किया है तो फिर उन पर ऐसी संगीन धाराओं में मुकदमा क्यों दर्ज किया गया है। वहीं शहर क़ाज़ी ने कहा कि अब ईद उल अज़हा के मौके पर कुछ लोगों को नोटिस भेजा गया है जोकि गलत है। उन्होंने कहा कि ईदगाह कमेटी के द्वारा ऐसा कोई ऐलान नहीं किया जाता जिसमें ईदगाह के बाहर नमाज अदा करने के लिए कहा जाए बल्कि इस बात को कहा जाता है कि लोग ईदगाह के अंदर ही नमाज अदा करें लेकिन बाहर नमाज अदा करने की परंपरा कई सौ सालों से चलती चली आ रही है। साथ ही साथ उन्होंने कहा कि दूसरे धर्म के लोग भी अपने त्योहारों को कई कई घंटे तक सड़कों पर मानते हैं और जिसमें ट्रैफिक जाम भी हो जाता है। साथ ही साथ उन्होंने कहा कि कई बार ऐसा होता है कि पूजा अर्चना के लिए भी सड़क बंद कर दी जाती है जिस पर हमें ऐतराज नहीं है लेकिन हमें संविधान से इस बात की आजादी मिली है कि हम अपनी धार्मिक परंपराओं के धार्मिक कार्यक्रमों को आजादी से करें। उन्होंने कहा कि ऐसा कभी नहीं हुआ है कि खाली ईदगाह के अंदर ही नमाज अदा हो। भारी भीड़ के चलते ईदगाह के बाहर भी नमाज अदा की जाती रही है और किसी को इस पर ऐतराज भी नहीं हुआ है और इसकी वजह से आज तक किसी भी तरह का कोई झगड़ा भी नहीं हुआ है। उन्होंने कहा कि संविधान में साफ लिखा हुआ है कि हर किसी को बराबरी का हक दिया जाएगा और संविधान में ऐसा कहीं नहीं है कि किसी भी धर्म के साथ भेदभाव किया जाए और ऐसे हालात में अगर ऐसा हो रहा है तो हम उसके लिए अपील कर रहे हैं जिसके लिए राष्ट्रपति, माइनॉरिटी कमीशन में अपील की गई है। 

गौरतलब है कि ईद उल फितर के मौके पर ईदगाह में नमाज अदा करने के लिए पहुंचे नमाज़ियों ने ईदगाह इन जगह न मिलने पर सड़क पर नमाज अदा की थी जिसको लेकर नमाजियों और पुलिस के बीच नोंकझोंक भी हुई थी जिसके वीडियो सोशल मीडिया पर वायरल हुए थे जिसके बाद पुलिस ने इस मामले में 200 अज्ञात लोगों के खिलाफ मुकदमा दर्ज किया था। वही कल पूरे देश में ईद उल अज़हा का त्यौहार मनाया जाएगा जिसको लेकर प्रशासन पूरी तरीके से अलर्ट है और पुलिस की तरफ से साफ हिदायत दी गई है कि कोई भी नमाजी सड़क पर नमाज अदा न करें।