थैलेसीमिया के बारे में जागरूकता बढ़ाने के लिए मनाए गए वर्ल्ड थैलेसीमिया डे के मौके पर राष्ट्रीय राजधानी में वॉकथॉन किया गया। दिल्ली के सर गंगाराम अस्पताल ने थैलेसीमिया इंडिया और इंडियन एकेडमी ऑफ पीडियाट्रिक्स की मदद से ये आयोजन किया।
थैलेसीमिया एक पीढ़ी से दूसरी में जाने वाली बीमारी है। इसकी वजह से शरीर में हीमोग्लोबिन कम बनने से बच्चों में खून की कमी हो जाती है। आयोजकों के मुताबिक करीब चार फीसदी भारतीय आबादी में पीढ़ियों से चली आ रही बीमारियां होती हैं।
थैलेसीमिक इंडिया के अध्यक्ष दीपक चोपड़ा का बच्चा भी इस बीमारी से पीड़ित है। उन्होंने अपना दर्द साझा किया। लोगों में जागरूकता बढ़ने और जांच के बेहतर इंतजामों की वजह से अब इस बीमारी की रोकथाम होने लगी है। हर साल आठ मई को वर्ल्ड थैलेसीमिया डे मनाया जाता है। इसका मकसद थैलेसीमिया को लेकर लोगों में डर दूर करने और इलाज की सही जानकारी देना है।