New Delhi: सुप्रीम कोर्ट ने दिल्ली पुलिस कमिश्नर को फटकार लगाई है। सुप्रीम कोर्ट ने कहा कि पटाखों पर प्रतिबंध लगाने के आदेश को दिल्ली पुलिस ने गंभीरता से नहीं लिया। सुप्रीम कोर्ट ने कहा कि प्रथम दृष्टया उसका मानना है कि कोई भी धर्म ऐसी किसी गतिविधि को बढ़ावा नहीं देता है जो प्रदूषण को बढ़ावा देती हो या लोगों के स्वास्थ्य के साथ समझौता करती हो।
जस्टिस अभय एस. ओका और ऑगस्टीन जॉर्ज मसीह की पीठ ने दिल्ली पुलिस कमिश्नर को निर्देश दिया है कि पटाखों की बिक्री और निर्माण पर रोक सुनिश्चित करें। कोर्ट ने सभी पक्षों को तुरंत सूचित करने का निर्देश दिया है।
कोर्ट ने पुलिस कमिश्नर को एक स्पेशल सेल बनाने का निर्देश दिया है, जो सनिश्चित करे कि पटाखों पर प्रतिबंध के कार्यान्वयन पूरी तरह से हों। साथ ही दिल्ली पुलिस कमिश्नर को प्रतिबंध लागू करने लिए उठाए गए कदमों को रिकॉर्ड पर दर्ज करने के लिए एक व्यक्तिगत हलफनामा दायर करने का निर्देश दिया है।
कोर्ट ने आश्चर्य जताया कि दिल्ली सरकार ने पटाखों पर प्रतिबध लगाने में 14 अक्टूबर तक की देरी क्यों की, जबकि प्रतिबंध का आदेश जारी किया गया था। सुप्रीम कोर्ट ने कहा कि दिल्ली सरकार हितधारकों का पक्ष लेकर 25 नवंबर से पहले पटाखों पर पूरी तरह से यानी 'स्थायी' प्रतिबंध लगाने का फैसला करे।