भारतीय जनता पार्टी के लौह पुरुष के नाम से लोकप्रिय पूर्व उप प्रधानमंत्री, पूर्व गृह मंत्री लालकृष्ण आडवाणी की तबीयत फिर बिगड़ गई है. उन्हें नई दिल्ली के अपोलो अस्पताल में भर्ती कराया गया है. बीते दो हफ्तों से उनकी हालत नाजुक बनी हुई है और उनका इलाज न्यूरोलॉजी विभाग के वरिष्ठ कंसल्टेंट डॉ. विनीत सूरी की देखरेख में जारी है. इससे पहले भी आडवाणी इसी साल जुलाई में अस्पताल में भर्ती हो चुके हैं जहां उनकी स्थिति स्थिर होने पर उन्हें डिस्चार्ज कर दिया गया था.
रूटीन चेकअप के लिए उन्हें भर्ती कराया गया है. इससे पहले जून में भी उनकी तबीयत बिगड़ी थी, जब उन्हें दिल्ली स्थित एम्स में यूरोलॉजी विभाग में भर्ती कराया गया था. तब रात 10:30 बजे उन्हें अस्पताल लाया गया था और अगले दिन दोपहर को डिस्चार्ज कर दिया गया था. 96 वर्षीय आडवाणी लंबे समय से स्वास्थ्य समस्याओं का सामना कर रहे हैं, और उनकी नियमित चिकित्सकीय जांच की जा रही है.
आडवाणी को इसी साल उन्हें देश के सबसे बड़े नागरिक सम्मान भारत रत्न से सम्मानित किया गया है. बीजेपी के दिग्गज नेता रहे आडवाणी ने जनसंघ से लेकर बीजेपी को भी मजबूत बनाने में पूरा जीवन लगा दिया. बीजेपी की मौजूदा पीढ़ी के तमाम नेताओं की फौज को आडवाणी ने ही तैयार किया था. पीएम मोदी खुद आडवाणी के सबसे बड़े प्रशंसकों में से एक हैं.
लालकृष्ण आडवाणी 96 साल के हैं. उनका जन्म 8 नवंबर, 1927 को पाकिस्तान के कराची शहर में हुआ था. बंटवारे के बाद उनका परिवार भारत में आकर बस गया था. आडवाणी ने अपने सियासी जीवन में आधा दर्जन यात्राएं निकालीं. इनमें राम रथ यात्रा, जनादेश यात्रा, स्वर्ण जयंती रथ यात्रा, भारत उदय यात्रा, भारत सुरक्षा यात्रा, जनचेतना यात्रा शामिल हैं.