क्विंटन डिकाक के अर्धशतक और तेज गेंदबाज मयंक यादव की रफ्तार भरी गेंदों से लखनऊ सुपरजाइंट्स ने मंगलवार को आईपीएल मैच में रॉयल चैलेंजर्स बेंगलोर को 28 रन से हराया। एलएसजी ने क्विंटन डी कॉक के 56 गेंदों पर बनाए 81 रन और निकोलस पूरन की 21 गेंदों पर खेली गई 40 रनों की पारी की बदौलत 20 ओवर में पांच विकेट पर 181 रन बनाए। 182 रनों के टारगेट का पीछा करने उतरी रॉयल चैलेंजर्स बेंगलुरू टीम के बल्लेबाज महिपाल लोमरोर ने 13 गेंदों पर 33 रन बनाकर उम्मीदें जगाईं।
हालांकि एलएसजी के मयंक यादव की आग उगलती गेंदों ने तीन बल्लेबाजों को पवेलियन का रास्ता दिखाया और बेंगलुरू की उम्मीदों को तोड़ दिया। मयंक ने 14 रन देकर तीन विकेट हासिल किए। नतीजा ये रहा कि आरसीबी की पूरी टीम 153 रनों पर ऑलआउट हो गई। लखनऊ सुपर जायंट्स के गेंदबाज़ों ने शुरूआत से ही आरसीबी के बल्लेबाजों पर जो दबाव बनाया उसे उन्होंने आखिर तक बरकरार रखा। लखनऊ की टीम ने अपने गेंदबाजी की शुरूआत दो स्पिनरों के साथ की। कप्तान के. एल. राहुल ने ये जिम्मेदारी मणिमरण सिद्धार्थ और क्रुनाल पांड्या के कंधों पर सौंपी। नतीजा जल्द ही सामने दिखा। फाफ डू प्लेसी 13 गेंदों में 19 रन और विराट कोहली 16 गेंदों पर 22 रन बनाकर जल्द ही पवेलियन लौटे।
हालांकि इससे पहले विराट कोहली आक्रामक अंदाज में दिखे। नवीन-उल-हक की गेंद पर सिक्सर लगाकर उन्होंने इसकी झलक पेश की। हालांकि जल्द ही लेफ्ट आर्म स्पिनर सिद्धार्थ ने विराट को अपनी घूमती गेंदों में फंसा लिया। कोहली इनसाइड आउट शॉट खेलने के चक्कर में बैकवर्ड प्वाइंट पर खड़़े देवदत्त पडिक्कल को कैच थमा बैठे।
विराट के बाद फाफ डू प्लेसी भी जल्द ही आउट हो गए।इसके बाद आरसीबी की लड़खड़ाई पारी संभल नहीं पाई। ग्लेन मैक्सवेल और कैमरून ग्रीन के विकेट जल्द गंवाने के बाद आठ ओवर में आरसीबी का स्कोर 4 विकेट पर 58 रन तक ही पहुंच सका ये आरसीबी की इनिंग्स का वो वक्त था जब मयंक यादव अपनी रफ्तार भरी गेंदों से तीन ओवर में 13 रन खर्च कर दो विकेट हासिल कर चुके थे। मैक्सवेल जैसा बेहतरीन बल्लेबाज भी मयंक की रफ्तार पर चकमा खा गया और गेंद को पुल करने की कोशिश में शॉर्ट मिड-विकेट पर पूरन को आसान कैच थमा बैठे।
ग्रीन को भी मयंक की रफ्तार समझ नहीं आई। गेंद गुड लेंथ पर पिच करने के बाद थोड़ी सीधी हो गई और उसने उनके ऑफ स्टंप को चकनाचूर कर दिया। दाएं हाथ के तेज गेंदबाज मयंक ने बाद में रजत पाटीदार को 27 रन के स्कोर पर अपना शिकार बनाया। उस वक्त आरसीबी का स्कोर छह विकेट पर 103 रन हो गया। इससे पहले डी कॉक ने अर्धशतक के साथ अपनी असाधारण हिटिंग स्किल दिखाई। हालांकि वे एलएसजी के स्कोर को बड़े स्कोर में तब्दील करने में नाकाम रहे।
बाएं हाथ के इस बल्लेबाज ने मैदान के चारों तरफ सटीक अंदाज में शॉट खेले। निकोलस पूरन ने भी रनों की रफ्तार बढ़ाने की कोशिश की। हालांकि आरसीबी के गेंदबाज़ों ने इन दोनों बल्लेबाज़ों के अलावा लखनऊ के किसी और बल्लेबाज को खुलकर खेलने का मौका नहीं दिया। लखनऊ सुपर जायंट्स की शुरूआत बेहतरीन रही और दोनों ओपनरों ने स्कोर को तीन ओवर में 32 रनों तक पहुंचाया। पावर प्ले यानी पहले छह ओवर में एलएसजी का स्कोर बगैर कोई विकेट खोए 54 रन तक पहुंच गया।
इनमें से ज्यादातर रन क्विंटन डी कॉक के बल्ले से निकले। उन्होंने मोहम्मद सिराज की गेंदों पर जमकर रन जोड़े। क्विंटन डी कॉक ने सिराज की गेंदों पर तीन छक्के लगाए। इनमें से दो छक्के तो लगातार दो गेंदों पर लगे। कॉक ने दो पावरफुल पुल शॉट लगाए तो वहीं एक बार मिड-विकेट के ऊपर से बेहतरीन अंदाज में गेंद को छह रन के लिए भेजा। पंजाब किंग्स के खिलाफ बल्ले से अपना असर छोड़ने वाले एलएसजी के कप्तान के. एल. राहुल ने आरसीबी के खिलाफ धीमी शुरूआत की और पहली 10 गेंदों पर सिर्फ 6 रन ही जोड़े।
हालांकि इसके बाद यश दयाल की गेंद पर लगाए छक्के ने उन्हेें अपनी पारी को बेहतरीन अंदाज में आगे बढ़ाने का कॉन्फिडेंस दिया। इसका अंदाजा मैक्सवेल की गेंद पर स्वीप शॉट के जरिए लगाए गए छक्के से लगाया जा सकता है। हालांकि मैक्सवेल की एक गुड लेंग्थ गेंद को पुल करने की कोशिश में वे सर्किल के अंदर खड़े मयंक डागर को कैच थमा बैठे।
इसके बाद देवदत्त पडिक्कल भी जल्द आउट हो गए। हालांकि स्टॉयनिस और क्विंटन डि कॉक के बीच तीसरे विकेट के लिए 30 गेंदों पर हुई 56 रनों की पार्टनरशिप ने एलएसजी की पारी को मजबूती दी। क्विंटन डि कॉक ने 36 गेंदों पर अपना अर्द्धशतक पूरा किया और एक छोर संभाले रखा। वहीं दूसरे छोर से स्टॉयनिस ने मैक्सवेल और ग्रीन की गेंदों पर छक्के लगाकर एलएसजी की पारी को आगे बढ़ाना जारी रखा।
हालांकि जल्द ही ये साझेदारी उस वक्त टूट गई जब स्टॉयनिस एक शॉट खेलने में चूके और प्वाइंट पर खड़े डागर ने कैच लपकने में कोई गलती नहीं की। क्विंटन डि कॉक की पारी भी जल्द ही खत्म हो गई। वे टॉप्ली की एक गेंद पर लॉन्ग ऑन पर खड़े डागर को कैच थमा बैठे। 16 ओवर और तीन गेंदों पर एलएसजी का स्कोर चार विकेट खोकर 143 रन पर पहुंच चुका था। हालांकि एक सुरक्षित स्कोर तक पहुंचने के लिए कुछ और रनों की दरकार थी। इस कमी को निकोलस पूरन ने 19वें ओवर में टॉप्ली की गेंदों पर तीन छक्के लगाकर पूरा कर दिया। उन्होंने बेहतरीन अंदाज में 20वें ओवर में मोहम्मद सिराज की गेंद पर भी दो छक्के लगाए और पारी को 181 रन के फाइटिंग स्कोर तक पहुंचा दिया।