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आस्था और आधुनिकता का संगम, ब्रजभूमि के सांस्कृतिक पुनर्जागरण की ओर योगी सरकार का संकल्प

UP: उत्तर प्रदेश की योगी आदित्यनाथ सरकार जहां विकास के प्रति सजग है, वहीं सांस्कृतिक धरोहरों के संरक्षण और उत्थान पर भी विशेष ध्यान दे रही है। सरकार ने प्रदेश के सभी प्रमुख तीर्थ क्षेत्रों के लिए विकास परिषद की स्थापना और परियोजनाएं शुरू की हैं। इसी सिलसिले में भगवान श्रीकृष्ण की लीलास्थली ब्रज भूमि को विशेष प्राथमिकता दी गई है। इसके लिए ‘उत्तर प्रदेश ब्रज तीर्थ विकास परिषद’ का गठन किया गया है, जो ना सिर्फ़ ब्रज क्षेत्र की धार्मिक और सांस्कृतिक विरासत को संवारने और संजोने का काम कर रहा है, बल्कि धार्मिक पर्यटन को बढ़ाने में भी अपनी अहम भूमिका निभा रहा है।

योगी आदित्यनाथ उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री के तौर पर ब्रज तीर्थ विकास परिषद के पदेन अध्यक्ष हैं और ब्रज उन्हीं की देख रेख में अपनी कृष्ण कालीन युग में वापसी कर रहा है। इसी के चलते ब्रज क्षेत्र के 8 जिलों के 2800 से अधिक गाँव धार्मिक और सांस्कृतिक विकास की इस यात्रा में शामिल है। यहां यमुना के किनारे चिंताहरण घाट, देवरहा बाबा घाट, ब्रह्मांड घाट, केशी घाट, विश्राम घाट और चीर घाट का पुनर्निर्माण हुआ है।

तीर्थ विकास परिषद द्वारा गोवर्धन पर्वत की सप्तकोसीय परिक्रमा मार्ग का भी सौंदर्यीकरण किया गया है। गोवर्धन परिक्रमा मार्ग में ही स्थित ASI संरक्षित कुसुम सरोवर पर भी विशेष लाइटिंग की गई है और हर शाम यहाँ लाइट एंड साउंड शो आयोजित किया जाता है जिसमें राधा-कृष्ण की लीलाओं को प्रदर्शित किया जाता है। एक ओर जहाँ वृंदावन के सप्त देवालय सर्किट का विकास हो रहा है। वहीं ब्रज तीर्थ विकास परिषद की ओर से भगवान कृष्ण के अनन्य भक्त महाकवि रसखान के समाधि स्थल का भी सौंदर्यीकरण किया गया है। यहाँ आने वालों को उनके जीवन के बारे में बताने के लिए एक व्याख्या केंद्र का निर्माण कर विशेष प्रकार की लाइटिंग भी की गई हैं जो शाम को यहाँ आने पर्यटकों के लिए एक अलग ही एहसास देने वाला पल होता है।

इतना ही नहीं बरसाना में राधा रानी मंदिर तक पहुंचने के लिए सरकार ने रोप-वे की व्यवस्था भी शुरू की है। 210 मीटर लंबे रोप-वे के जरिए यहाँ आने वाले श्रद्धालु आराम से राधा रानी के दर्शन कर सकते हैं। पहले इसके लिए श्रद्धालुओं को 251 सीढ़ियां चढ़कर जाना पड़ता था। इतना ही नही बरसाना में तीर्थयात्रियों की सुविधा के लिए टूरिस्ट फैसिलिटी सेंटर का निर्माण भी कराया गया है। इन परियोजनाओं का लाभ केवल तीर्थयात्रियों को ही नहीं, बल्कि ब्रजवासियों को भी हो रहा है। स्वरोजगार, हस्तशिल्प, पूजा सामग्री और टूर गाइड जैसे क्षेत्रों में आजीविका के नए अवसर पैदा हुए हैं। अब पूरे ब्रज में बड़े- बड़े होटल, धर्मशाला , गेस्ट हाउस की भरमार हो गयी है, जिससे लोगों को स्वरोजगार के साधन बढ़े हैं।

यह विकास एक यज्ञ की तरह है, और इस यज्ञ के यजमान खुद उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ हैं। जिसका उद्देश्य है – आस्था और आधुनिकता का संगम ताकि ब्रजभूमि एक बार फिर अपने प्राचीन वैभव को प्राप्त कर सके।