तेज गेंदबाज मोहम्मद शमी के फीके प्रदर्शन की वजह से बंगाल को बुधवार को बेंगलुरू में सैयद मुश्ताक अली ट्रॉफी के क्वार्टर फाइनल में बड़ौदा से 41 रन से हार का सामना करना पड़ा। शमी का प्रदर्शन इसलिए भी चर्चा में है क्योंकि वे ऑस्ट्रेलिया में चल रही बॉर्डर-गावस्कर ट्रॉफी के कम से कम आखिरी दो टेस्ट के लिए भारतीय टीम में शामिल होने के लिए कड़ी मेहनत कर रहे हैं।
हालांकि, मीडिया रिपोर्ट में बताया गया है कि शमी ने हाल ही में फिटनेस टेस्ट कराया था और नतीजों से पता चला है कि वे अभी टेस्ट क्रिकेट के लिए तैयार नहीं हैं। रिपोर्ट के मुताबिक इस वजह से शमी के जल्द ही ऑस्ट्रेलिया जाने की कोई योजना नहीं है।
क्वार्टर फाइनल मुकाबले से पहले शमी ने सैयद मुश्ताक अली ट्रॉफी के आठ मैच में 7.8 के इकॉनमी रेट से 11 विकेट थे। हालांकि बुधवार का दिन शमी के लिए कुछ खास नहीं रहा। उन्होंने पहले ओवर में दो वाइड से शुरुआत की और अपने स्पैल के बाकी वक्त में अपनी गेंदबाजी में नियंत्रण में नहीं दिखे।
34 साल के शमी ने दो स्पैल में लगभग 140 किलोमीटर प्रति घंटे की रफ्तार से गेंदें फेंकी और कुछ यॉर्कर भी डालीं। लेकिन वे अपनी गेंदों को स्टंप के करीब पहुंचाने में जूझते दिखे। शमी ने आखिर में शिवालिक और अतीत शेठ के विकेट हासिल किए। हालांकि उन्हें ये कामयाबी तब मिली जब बड़ौदा तेजी से रन बनाने की कोशिश कर रहा था।
शमी बल्ले से भी कमाल नहीं दिखा पाए। वे सिर्फ दो गेंद खेलने के बाद भारतीय टीम के साथी हार्दिक पांड्या की गेंद पर शून्य पर आउट हो गए।